पानी की कमी ही नहीं ये बीमारियाँ भी हैं बार-बार गला सूखने का कारण

स्वस्थ जीवन के लिए स्वस्थ भोजन जितना जरूरी है, पानी पीना भी उतना ही जरूरी है। स्वास्थ्य विशेषज्ञों के मुताबिक पानी हमारी सेहत के लिए बहुत जरूरी है। रोजाना 3-4 लीटर पानी पीने से हमारे शरीर में जमा विषाक्त पदार्थों को बाहर निकालना आसान हो जाता है। शरीर में पानी का महत्व आप इसी से समझ सकते हैं,कि हमारे शरीर में 70% से अधिक पानी होता है। अगर आप उन लोगों में से हैं जो रोजाना 3-4 लीटर पानी पीते हैं तो भी आपकी प्यास नहीं बुझती। तो यह कई गंभीर बीमारियों का संकेत हो सकता है। आज इस आर्टिकल के माध्यम से

मुझे बार-बार प्यास क्यों लगती है? बार-बार प्यास लगने का क्या कारण है?
गर्मी के मौसम में जब हम कोई शारीरिक मेहनत वाला काम करते हैं तो हमें बार-बार प्यास लगने लगती है। इसके अलावा अधिक पसीना आना और अधिक मात्रा में नमकीन खाद्य पदार्थों का सेवन करना भी बार-बार प्यास लगने का प्रमुख कारण बनता है। इसके अलावा, अत्यधिक कैफीन का सेवन और गर्भावस्था भी अत्यधिक प्यास का कारण बन सकती है। इसके अलावा कुछ गंभीर बीमारियों के कारण भी बार-बार प्यास लगने की समस्या हो सकती है। इस समस्या को ‘पॉलीडिप्सिया’ कहा जाता है।

डायबिटीज- जीवनशैली और खान-पान में बदलाव के कारण मधुमेह एक गंभीर समस्या बन गई है। बार-बार प्यास लगना मधुमेह का एक महत्वपूर्ण संकेत हो सकता है। डायबिटीज में हमारे खून में शुगर की मात्रा बढ़ जाती है, जो पेशाब के जरिए शरीर से बाहर निकलती रहती है। यही कारण है कि हमें बार-बार प्यास लगने की समस्या का सामना करना पड़ता है।

डिहाइड्रेशन- डिहाइड्रेशन का मतलब है ‘शरीर में पानी की कमी’। अधिक गर्मी, लू, डायरिया और धूप से होने वाली जलन के कारण हमारे शरीर में पानी की मात्रा कम हो जाती है। जिसके कारण गला सूखना, थकान, कमजोरी और बार-बार प्यास लगना जैसी समस्याएं पैदा हो जाती हैं। अगर आपको डिहाइड्रेशन की समस्या है तो आपको सादे पानी की जगह इलेक्ट्रोलाइट्स मिला हुआ पानी पीना चाहिए।

एंग्जायटी- एंग्जाइटी एक शारीरिक और मानसिक स्थिति है जिसमें हमें बेचैनी और घबराहट महसूस होती है। इस समस्या के कारण हमारा मुंह सूखने लगता है, जिसके कारण व्यक्ति कई बार पानी पीने लगता है। चिंता एक ऐसी स्थिति है जिसमें हमारे शरीर में कुछ हार्मोन का उत्पादन शुरू हो जाता है, जिसके कारण लार ग्रंथियां प्रभावित होती हैं और लार का उत्पादन कम हो जाता है। ऐसी स्थिति में भी आपको बार-बार प्यास लग सकती है।

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