तेलंगाना के गोशामहल निर्वाचन क्षेत्र से भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के प्रत्याशी एवं निवर्तमान विधायक टी राजा सिंह ने बृहस्पतिवार को कहा कि यदि उनकी पार्टी आगामी विधानसभा चुनाव नहीं जीतती है तो वह एक मजबूत विपक्ष के रूप में उभरेगी।
सिंह ने आरोप लगाया कि सत्तारूढ़ भारत राष्ट्र समिति (बीआरएस) ने असदुद्दीन ओवैसी की अगुवाई वाली एआईएमआईएम के नेताओं के साथ साठगांठ की है और उसने निर्वाचन क्षेत्र में करीब ‘17000 फर्जी मत’ शामिल किये हैं।
सिंह का बीआरएस के नंद किशोर व्यास और कांग्रेस की मोगिली सुनीता से चुनावी मुकाबला है।
उन्होंने कहा, ‘‘हम आशान्वित हैं कि हम सरकार बनायेंगे। लेकिन यदि हम सरकार नहीं बना पाते हैं तो भाजपा एक मजबूत विपक्ष बनेगी।’’
उनसे उन कुछ सर्वेक्षण के बारे में पूछा गया था जिनमें कहा गया है कि भाजपा तेलंगाना में सरकार नहीं बना पायेगी।
भाजपा नेतृत्व ने पिछले महीने गोशामहल के इन विधायक का निलंबन रद्द कर दिया था। उसने उन्हें पहले दिये गये कारण बताओ नोटिस पर उनके स्पष्टीकरण पर गौर करते हुए ऐसा किया।
पिछले साल अगस्त में राजा सिंह को भाजपा से निलंबित कर दिया गया था। उससे पहले सोशल मीडिया पर एक वीडियो आया था जिसमें उन्होंने ‘इस्लाम और पैगंबर मोहम्मद’ के बारे में कथित रूप से विवादास्पद टिप्पणी की थी। बाद में संबंधित सोशल मीडिया मंच ने इस वीडियो को हटा दिया था।
उन्हें ऐहतियाती हिरासत (पीडी) अधिनियम के तहत गिरफ्तार किया गया था। लेकिन बाद में तेलंगाना उच्च न्यायालय ने नवंबर 2022 में उन पर लगाया गया पीडी कानून दरकिनार कर दिया था। बाद में उन्हें जमानत मिल गयी थी।
राजा सिंह ने कहा कि वह तीसरी बार चुनाव जीतने जा रहे हैं क्योंकि उन्होंने पिछले नौ सालों में 500 करोड़ रुपये के काम कर इस निर्वाचन क्षेत्र का विकास किया है।
जब सुनीता से संपर्क किया गया तो उन्होंने कहा कि राजा सिंह पहले मजबूत प्रत्याशी हुआ करते थे, अब नहीं हैं।
उन्होंने कहा कि मतदाताओं की राय है कि भाजपा, एमआईएम और बीआरएस एक ही थैली के चट्टे बट्टे हैं और यह भी कि राजा धूलपेट को छोड़कर निर्वाचन क्षेत्र में बमुश्किल ही नजर आते हैं।
तेलंगाना में 30 नवंबर को विधानसभा चुनाव हैं।
– एजेंसी