भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के महासचिव कैलाश विजयवर्गीय ने दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल पर निशाना साधते हुए उन्हें गुजरात में वर्ष 2022 में संपन्न विधानसभा चुनावों के दौरान आम आदमी पार्टी को मिली हार याद दिलाई है।
उन्होंने यह दावा भी किया है कि आम आदमी पार्टी को मध्यप्रदेश में इस साल के आखिर में होने वाले विधानसभा चुनावों में गुजरात की इस चुनावी पराजय की पुनरावृत्ति झेलनी पड़ेगी।विजयवर्गीय ने इंदौर में सोमवार रात संवाददाताओं से कहा, ”केजरीवाल ने तो गुजरात में भी (मतदाताओं से) बड़े-बड़े वादे किए थे, लेकिन मेरा ख्याल है कि वहां 90 प्रतिशत सीटों पर उनकी पार्टी की जमानत जब्त हो गई थी। (आम आदमी पार्टी के लिए) मध्यप्रदेश में भी गुजरात की इस चुनावी स्थिति की पुनरावृत्ति होगी।”
कांग्रेस के राज्यसभा सांसद दिग्विजय सिंह ने सत्तारूढ़ भाजपा पर हमला बोलते हुए हाल ही में आरोप लगाया है कि हरियाणा के नूंह की तरह मध्यप्रदेश में भी सांप्रदायिक दंगा कराने की साजिश रची जा रही है।विजयवर्गीय ने पलटवार करते हुए कहा कि सिंह की बातों को अब कोई भी व्यक्ति गंभीरता से नहीं लेता है। भाजपा महासचिव ने कहा कि सांप्रदायिक माहौल बिगाड़ने की कोशिश करने वाले लोगों को ‘कुचलने में’ मध्यप्रदेश का शासन-प्रशासन पूरी तरह सक्षम है।
सूबे के आगामी विधानसभा चुनावों के लिए भाजपा के उम्मीदवारों की दूसरी सूची जारी होने की समय-सीमा के बारे में पूछे जाने पर विजयवर्गीय ने मजाकिया अंदाज में कहा, ”जब (भाजपा उम्मीदवारों की) पहली सूची आई, तब किसी भी व्यक्ति को इसकी जानकारी नहीं थी। वैसे ही दूसरी सूची आने के बारे में भी किसी को जानकारी नहीं होगी।”भाजपा ने राज्य में नवंबर के दौरान संभावित विधानसभा चुनावों से करीब तीन महीने पहले 39 उम्मीदवारों की पहली सूची घोषित करके 17 अगस्त को सियासी जानकारों को चौंका दिया था।
मीडिया के साथ बातचीत से पहले, विजयवर्गीय और स्थानीय जन प्रतिनिधियों ने इंदौर में खासकर रात के वक्त नशे की प्रवृत्ति के कारण बढ़ती आपराधिक घटनाओं की रोकथाम के लिए पुलिस और प्रशासन के आला अफसरों के साथ बैठक की।विजयवर्गीय ने बैठक के बाद चिंता जताते हुए कहा कि शहर में हाल ही में ऐसी एक-दो आपराधिक घटनाएं हुईं जो सांप्रदायिक शक्ल अख्तियार कर सकती थीं। भाजपा महासचिव ने कहा कि आने वाले त्योहारों के मद्देनजर पुलिस और प्रशासन को मुस्तैद रहना होगा ताकि ऐसी घटनाओं की पुनरावृत्ति न हो सके।