अश्वगंधा का उपयोग आयुर्वेद में सदियों से किया जाता रहा है। इसे जड़ी-बूटियों का बेहतर विकल्प माना जाता है. भारतीय आयुर्वेदिक चिकित्सा में निहित, यह जड़ी-बूटी उन लोगों के लिए तेजी से लोकप्रिय विकल्प बन रही है जो अपने स्वास्थ्य को बढ़ावा देने और तनाव को कम करने के प्राकृतिक साधन की तलाश में हैं।
अश्वगंधा एक जड़ी बूटी है जो अपने मेडिकल गुणों के लिए 3000 से भी अधिक वर्षों से प्रयोग होती आ रही है। यह जड़ी ब्यूटी आयुर्वेद में सबसे महत्त्वपूर्ण व प्रसिद्ध है और अब यह पश्चिमी जगत की ओर और भी अधिक प्रचलित हो रही है। इसे विथानिया सोमनीफेरा के नाम से भी जाना जाता है और संस्कृति में इसका अर्थ ‘घोड़े की गंध’ है। भले ही इसका नाम इसकी गंध से जुड़ा हुआ है, परन्तु यह बहुत ही उपयोगी परंतु कड़वी दवा है। चलिये जानते हैं अश्वगंधा से मिलने वाले लाभ।
अश्वगंधा के फायदे-
1. अश्वगंधा स्ट्रेस कम करने में सहायक है
यदि आप को लगता है कि आप की जिंदगी में कुछ भी वैसा नहीं हो रहा है जैसा आप ने सोचा था और इस वजह से आप अधिक स्ट्रेस लेते हैं, तो बता दें इसका सेवन तेल, काढ़ा या औषधि के रुप में बहुत लाभदायक है। स्ट्रेस और एंग्जायटी में अश्वगंधा एसेंशियल ऑयल बहुत फायदेमंद हैं। असल में अश्वगंधा या इसके तेल में नर्व्स को रिलैक्स करने के सभी गुण मौजूद होते हैं। जिसके कारण ये एंजाइटी, स्ट्रेस, तनाव और नींद को कम करने में बहुत प्रभावी है। अश्वगंधा के सेवन से स्ट्रेस हार्मोन कॉर्टिसो़ल बैलेंस होता है व मन शान्त करता है।
2. अश्वगंधा ऊर्जा को बढ़ाता है- आपको जानकर हैरानी होगी कि अश्वगंधा शारीरिक कमजोरी को भी दूर करता है। यदि आप वजन बढ़ाना चाहते हैं, तो इसके सेवन से वजन बढ़ता है और नई ऊर्जा का संचार होता है। यदि रोजाना दूध और शक्कर के साथ अश्वगंधा चूर्ण लिया जाए तो शरीर चुस्त दुरुस्त होता है और नई उर्जा स्फूर्ति आती है। व शारीरिक कमजोरी भी दूर होती है।
3. अश्वगंधा एकाग्रता बढ़ाता है- क्या आप को भी अपने काम में ध्यान केंद्रित करते समय परेशानी आती है? तो आप को अश्वगंधा का सेवन अवश्य करना चाहिए। इससे आप को ध्यान लगाने में मदद मिलेगी। क्योंकि यह स्मरण शक्ति, ध्यान, एकाग्रता और मेमोरी लॉस के लिए एक लाभदायक प्राकृतिक औषधि है। यह दिमाग के लिए ऊर्जा और पोषण का काम करता है। ताकि हमारा तांत्रिक तंत्र स्वस्थ रहे। व किसी भी प्रकार का स्ट्रेस ना हो। किसी भी प्रकार का स्ट्रेस एकाग्रता भंग करता है ।
4. अश्वगंधा सूजन कम करता है- अश्वगंधा सूजन कम करने में और इम्यूनिटी मजबूत करने में सालों से सहायक रहा है। इसमें एंटी इन्फ्लामेटरी गुण होते हैं जिसकी वजह से यह कई प्रकार के दर्द ठीक करने में भी सहायक है। अश्वगंधा के सेवन से ट्यूमर का विकास भी अवरुद्ध होता है। यह इन्फ्लेमेशन में बहुत अधिक सहायक माना जाता है। संक्रामक बीमारियों से बचाने और इम्युनिटी को बूस्ट करने में काफी मददगार है, अश्वगंधा की चाय। यही नहीं गठिया के दर्द और जोड़ों की सूजन भी दूर करता है अश्वगंधा।
5. अश्वगंधा कैंसर कम करने में सहायक है- शोध बताते हैं कि कैंसर जैसी खतरनाक बीमारी में भी इसका सेवन लाभकारी है। इसके सेवन से कैंसर बढ़ नहीं पातीं और कैंसर सेल पूरे शरीर में फैल नहीं पातीं। यह शरीर में रोग प्रतिरोधक क्षमता को बढ़ाता है, जिससे रिएक्टिव ऑक्सीजन स्पीशीज बनती है। यही नहीं यदि कीमोथेरेपी से किसी भी प्रकार का कोई साइड इफेक्ट होता है तो यह उसमें फायदा करता है।
A. अश्वगंधा के सेवन का तरीका- पहले अश्वगंधा की जड़ों को पानी में मिला कर एक पेस्ट तैयार कर लिया जाता था। जो किसी भी औषधि में मिला कर पिया जाता था। परंतु आज के समय में कैप्सूल या पाउडर की फॉर्म में अश्वगंधा का एक्सट्रेक्ट बहुत आसानी से कहीं पर भी मिल जाता है। आप को इस जड़ी बूटी का सिर्फ 100 एमजी अमाउंट ही एक बार में लेना है।
B. अश्वगंधा के प्रयोग में सावधानियां- एक्सपर्ट्स के अनुसार इसका सेवन निश्चित मात्रा में ही करना चाहिए। चाहे तो इसे पानी में उबाल ले या फिर दूध में मिलाकर इसका काढ़ा बनाकर सेवन कर सकते हैं। ज्यादा मात्रा में अश्वगंधा का सेवन करना खतरनाक हो सकता है। यदि आप जल्द से जल्द लाभ पाने के चक्कर में इसका जरूरत से ज्यादा सेवन करेंगे तो, यह फायदे की जगह नुकसान ही पहुंचायेगा और इसकी वजह से आपको एसिडिटी, गैस्ट्रिक, एलर्जी, रैशेज ,एंजाइटी आदि की समस्या हो सकती हैं। प्रेग्नेंट महिलाओं को या ह्रदय रोगियों को इसका सेवन बिना डॉक्टर के मशवरे के बिना नहीं करना चाहिए।
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