मुंह की बदबू का इलाज विटामिन से – जानिए कौन से 3 ज़रूरी पोषक तत्व हैं

मुंह से आने वाली बदबू (हैलिटोसिस) सिर्फ सामाजिक असहजता का कारण नहीं होती, यह शरीर में हो रही किसी पोषक तत्व की कमी का संकेत भी हो सकती है। आमतौर पर लोग मुंह की दुर्गंध को केवल ओरल हाइजीन से जोड़ते हैं, लेकिन कई बार यह समस्या शरीर में कुछ जरूरी विटामिन्स की कमी के कारण भी होती है। आइए जानते हैं ऐसे ही 3 ज़रूरी पोषक तत्वों के बारे में, जिनकी कमी से सांस से बदबू आने लगती है और इसे दूर करने के तरीके क्या हैं।

1. विटामिन B12

कमी के लक्षण:

  • मुंह से दुर्गंध
  • जीभ पर जलन या सूखापन
  • थकान और कमजोरी

क्यों ज़रूरी है:
विटामिन B12 लाल रक्त कोशिकाओं के निर्माण और नर्वस सिस्टम के लिए जरूरी होता है। इसकी कमी से मुंह के अंदर बैक्टीरिया का संतुलन बिगड़ सकता है, जिससे बदबू आने लगती है।

कैसे पाएं:
दूध, अंडा, मछली, दही और फोर्टिफाइड सीरियल्स विटामिन B12 के अच्छे स्रोत हैं। शाकाहारी लोग सप्लीमेंट लेने पर विचार कर सकते हैं, लेकिन डॉक्टर की सलाह के बाद ही।

2. विटामिन C

कमी के लक्षण:

  • मसूड़ों से खून आना
  • मुंह में सूजन
  • दुर्गंधित सांस

क्यों ज़रूरी है:
विटामिन C एक शक्तिशाली एंटीऑक्सीडेंट है जो मसूड़ों को स्वस्थ रखने में मदद करता है। इसकी कमी से मसूड़ों में संक्रमण और सूजन हो सकती है, जो बदबू का बड़ा कारण बनता है।

कैसे पाएं:
आंवला, नींबू, संतरा, अमरूद, टमाटर और हरी मिर्च जैसे फलों-सब्जियों में प्रचुर मात्रा में विटामिन C पाया जाता है।


3. विटामिन D

कमी के लक्षण:

  • बार-बार मुंह में इंफेक्शन
  • दांतों की सड़न
  • सांस की दुर्गंध

क्यों ज़रूरी है:
विटामिन D इम्यून सिस्टम को मजबूत करता है और मुंह के बैक्टीरिया को नियंत्रित रखने में मदद करता है। इसकी कमी से ओरल इंफेक्शन और दांतों की समस्याएं बढ़ सकती हैं।

कैसे पाएं:
सूर्य की रोशनी इसका सबसे अच्छा स्रोत है। साथ ही, अंडा की जर्दी, मशरूम, फिश ऑयल और फोर्टिफाइड फूड्स से भी यह मिल सकता है।

अतिरिक्त सुझाव:

  • दिन में दो बार ब्रश करें और जीभ की सफाई ज़रूर करें
  • पानी खूब पिएं ताकि मुंह सूखा न रहे
  • धूम्रपान और अत्यधिक कैफीन से बचें
  • नियमित रूप से डेंटिस्ट से चेकअप कराएं

मुंह की बदबू एक सामान्य समस्या है, लेकिन यदि यह लंबे समय तक बनी रहती है तो शरीर में पोषण की कमी को नजरअंदाज न करें। सही विटामिन्स और संतुलित खानपान से इसे जड़ से खत्म किया जा सकता है।