केंद्रीय सड़क परिवहन एवं राजमार्ग मंत्री नितिन गडकरी ने सोमवार को कहा कि राज्य के वित्त मंत्रियों को फ्लेक्स-फ्यूल वाहनों पर माल एवं सेवा कर (जीएसटी) को घटाकर 12 प्रतिशत करने पर विचार करना चाहिए।
फ्लेक्स फ्यूल वाले वाहन से आशय ऐसी गाड़ियों से हैं जो एक से अधिक ईंधन पर चलती हैं। सामान्य तौर पर ये वाहन पेट्रोल के अलावा एथनॉल मिश्रित पेट्रोल पर भी चलते हैं।
गडकरी ने आईएफजीई के इंडिया बायो-एनर्जी एंड टेक एक्सपो को संबोधित करते हुए यह भी कहा कि कच्चे तेल के आयात को कम करने और जैव ईंधन के उपयोग को प्रोत्साहित करने की आवश्यकता है।
उन्होंने कहा, ‘‘हमें विभिन्न राज्यों के वित्त मंत्रियों से समर्थन की जरूरत है। मैंने महाराष्ट्र के वित्त मंत्री से बैठक में भाग लेने और फ्लेक्स-फ्यूल इंजन कारों पर जीएसटी में कटौती का प्रस्ताव रखने को कहा है।’’
केंद्रीय मंत्री ने कहा कि उन्होंने उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ से ‘फ्लेक्स-फ्यूल’ वाहनों पर कर कम करने पर विचार करने का अनुरोध किया था।
महाराष्ट्र के वित्त मंत्री अजित पवार के साथ एक अलग बैठक में, गडकरी ने उन्हें इस मुद्दे पर केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण के साथ जीएसटी बैठक में भाग लेने का सुझाव दिया।
गडकरी ने यह भी कहा कि देश हर साल 22 लाख करोड़ रुपये तक का जीवाश्म ईंधन (कोयला, कच्चा तेल) आयात करता है और यह न केवल वायु प्रदूषण से जुड़ी समस्या है बल्कि एक आर्थिक समस्या भी है।
मंत्री के अनुसार, उन्हें भरोसा है कि जीवाश्म ईंधन के आयात को कम करने और जैव ईंधन को प्रोत्साहित करने के कारण सबसे ज्यादा लाभ कृषि क्षेत्र को होगा।
उन्होंने कहा, ‘‘आज जैव-ईंधन क्षेत्र में काफी संभावनाएं हैं।’’
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