सिम कार्ड के नए नियमों के तहत अब प्राइवेट कंपनियां एक बार में 100 से ज्यादा सिम कार्ड नहीं खरीद सकेंगी। इसके लिए उन्हें अगली बार फिर से अप्लाई करना होगा। सिम कार्ड जारी करने से पहले यूजर का ई-वेरीफिकेशन करना जरूरी होगा, जिससे ऑनलाइन धोखाधड़ी पर रोक लगाई जा सके। सिम कार्ड के नियमों में बदलाव हो सकता है। कुछ समय पहले ही सिम कार्ड को लेकर नया नियम आया था। नए नियमों का सबसे ज्यादा असर यूजर्स पर पड़ने वाला है। क्योंकि सरकार की तरफ से ऑनलाइन फ्रॉड को रोकने के लिए सिम कार्ड से संबंधित नए नियम बनाए गए हैं।
टेलीकॉम डिपार्टमेंट ने कार्रवाई करते हुए कहा कि अब निजी कंपनियां 100 से ज्यादा सिम कार्ड नहीं खरीद सकेंगी। एक समय में 100 सिम कार्ड ही खरीद पाएंगी। ऑनलाइन स्कैम और सिम कार्ड की बढ़ती संख्या पर अंकुश लगाने के उद्देश्य से ये फैसला लिया गया है। अगर किसी भी कंपनी को इससे ज्यादा सिम चाहिए तो उन्हें रिक्वेस्ट करनी होंगी। ये रिक्वेस्ट कंपनियों के एमडी द्वारा की जाएगी।
कंपनी को बल्क में सिम कार्ड चाहिए तो उन्हें 100 सिम कार्ड के बैच में ही इसे अप्लाई करना होगा। इसके बाद ज्यादा सिम हासिल करने के लिए उन्हें अगले दिन दोबारा अप्लाई करना होगा। इसमें एमडी के साथ यूजर का भी ई-वेरीफिकेशन होगा। फोटोग्राफ के साथ पूरी जांच करने के बाद ही सिम कार्ड इशू किया जाएगा। कंपनियों पर किसी प्रकार की कोई रोक नहीं थी। वह अनलिमिटेड नंबर ऑफ सिम खरीद सकती थीं। लेकिन अब इसमें भी बदलाव करने के बाद जरूरी हो गया है कि कर्मचारी खुद सिम का ई-वेरीफिकेशन करेगा। उसे पूरा करने के बाद ही सिम कार्ड इस्तेमाल करने लायक होगी।
सिक कार्ड एक्टिवेशन का प्रोसेस पूरा तभी होगा जब यूजर की केवॉयसी पूरी तरह अपडेट होगी। इससे पहले ऐसा नहीं किया जाएगा यानी सरकार की तरफ से इस पर पूरी तरह काबू पाने के लिए कदम उठाए जा रहे हैं। हालांकि इसके अलावा भी साइबर क्राइम को रोकने के लिए सरकार बहुत सारे फैसले ले रही है जो सीधा यूजर्स को प्रभावित करने वाले हैं।
यह भी पढ़े :-
दलीप ट्रॉफी पहले दौर का मैच बेंगलुरू में, अश्विन और बुमराह को छोड़कर सभी सितारे खेलेंगे