शिवकुमार की टिप्पणी पर लोकसभा दोपहर 2 बजे तक स्थगित

कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डी के शिवकुमार की टिप्पणी पर भाजपा ने सोमवार को लोकसभा में बार-बार कार्यवाही स्थगित करने पर मजबूर किया। उन्होंने राज्य में मुसलमानों के लिए चार प्रतिशत आरक्षण की व्यवस्था करने के लिए संविधान में बदलाव करने का सुझाव दिया था।

जब लोकसभा की कार्यवाही सुबह 11 बजे शुरू हुई तो भाजपा सदस्य खड़े होकर सरकारी ठेकों में मुसलमानों के लिए आरक्षण का मुद्दा उठा रहे थे।

समाजवादी पार्टी के सदस्य भी पोस्टर लहराते हुए आसन के पास पहुंचे और उत्तर प्रदेश में महिलाओं के खिलाफ अत्याचार के मामलों को उठाने की कोशिश की।

लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने सपा सदस्यों द्वारा सदन में पोस्टर लेकर आने पर कड़ी आपत्ति जताई और कार्यवाही दोपहर 12 बजे तक के लिए स्थगित कर दी।

जब सदन की कार्यवाही फिर से शुरू हुई तो संसदीय कार्य मंत्री किरेन रिजिजू ने कहा कि संवैधानिक पद पर बैठे व्यक्ति द्वारा मुसलमानों के लिए चार प्रतिशत आरक्षण की व्यवस्था करने के लिए संविधान में बदलाव करने की टिप्पणी अस्वीकार्य है।

रिजिजू ने कहा, “सदन चुपचाप कैसे देख सकता है? कांग्रेस को स्पष्ट करना चाहिए… उस व्यक्ति को बर्खास्त किया जाना चाहिए। आप मुसलमानों को आरक्षण देने का दावा करते हैं और बाबासाहेब अंबेडकर की तस्वीर और संविधान की एक प्रति जेब में रखने का नाटक करते हैं।” कांग्रेस के कुछ सदस्यों ने रिजिजू का विरोध करने की कोशिश की, जिससे सदन में शोर-शराबा शुरू हो गया। अध्यक्ष पद पर बैठे भाजपा सदस्य जगदंबिका पाल ने व्यवस्था बहाल करने की कोशिश की और बाद में कार्यवाही दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दी। सोमवार को लोकसभा में वित्त विधेयक पर चर्चा होनी है। भाजपा ने शिवकुमार द्वारा मीडिया कार्यक्रम में की गई टिप्पणी को लपक लिया है, जिसमें उन्होंने सरकारी ठेकों में मुसलमानों को आरक्षण देने के लिए संविधान में बदलाव करने का सुझाव दिया था। भाजपा के कई नेताओं ने कांग्रेस की आलोचना की और शिवकुमार के खिलाफ कार्रवाई की मांग की।