माइग्रेन के दर्द को ऐसा महसूस होता है जैसे सिर पर कोई भारी हथौड़ा पड़ रहा हो। हल्की आवाज़ भी कानों पर बम फोड़ने जैसी गूंज पैदा करती है। यह दर्द हमारे सेन्सरी सिस्टम को प्रभावित करता है, जिससे आंखें, कान और हाथ-पैर ठीक से काम नहीं कर पाते। आपको जानकर हैरानी होगी कि दुनियाभर में लगभग 100 करोड़ लोग इस दर्द से जूझ रहे हैं।
साइनस, जुकाम-खांसी, हाई ब्लड प्रेशर, बुखार, आंखों की सूखापन और डिहाइड्रेशन भी माइग्रेन का कारण बन सकते हैं। कई बार लोग बिना कारण समझे तुरंत पेनकिलर ले लेते हैं, जो शुरुआत में तो दर्द को कम कर देता है लेकिन लंबे समय में यह डिप्रेशन और एंग्जाइटी जैसी मानसिक समस्याओं को बढ़ा सकता है। इसलिए माइग्रेन में पेनकिलर लेना बचना चाहिए।
माइग्रेन के लक्षण
आधे सिर में तेज दर्द
तेज रोशनी से परेशानी
उल्टी आना
चक्कर आना
थकान महसूस होना
आंखों में जलन
तेज आवाज़ से दिक्कत
माइग्रेन से बचने के आसान उपाय
1. गैस बनने से बचाव करें:
सिरदर्द और पेट की गैस का गहरा संबंध है। माइग्रेन के साथ अक्सर मतली और उल्टी भी होती है। शोध बताते हैं कि जिन लोगों को माइग्रेन होता है, उनमें गैस्ट्रोइंटेस्टाइनल समस्या होने की संभावना अधिक होती है।
2. अनुलोम-विलोम प्राणायाम करें:
माइग्रेन और तनाव दोनों को दूर करने के लिए अनुलोम-विलोम प्राणायाम बहुत प्रभावी है। रोजाना 15 मिनट इसे करने से सिर दर्द में आराम मिलता है और मानसिक तनाव कम होता है।
3. डाइट में ये शामिल करें:
अंकुरित अनाज: माइग्रेन से बचाव के लिए अंकुरित अनाज खाना शुरू करें।
हरी सब्जियां: पालक, मेथी, एवोकाडो, बीन्स, लौकी और बादाम जैसी हरी सब्जियां माइग्रेन की गंभीरता कम करती हैं।
4. तेल का इस्तेमाल करें:
अणु तेल: नाक में अणु तेल डालने से नमी बनी रहती है और वायरस, धूल-मिट्टी फेफड़ों तक नहीं पहुंच पाते।
नारियल और लौंग का तेल: 10 ग्राम नारियल तेल में 2 ग्राम लौंग तेल मिलाएं और सिर पर लगाएं। इससे माइग्रेन के दर्द में आराम मिलता है।
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