गर्मियों में तला-भुना खाना हो सकता है आपकी सेहत का दुश्मन, जानिए क्यों

गर्मियों में तला-भुना खाना हमारी सेहत के लिए बहुत हानिकारक हो सकता है। जबकि स्वाद में यह मजेदार लगता है, लेकिन इसका लगातार सेवन शरीर को कई गंभीर बीमारियों की ओर ले जा सकता है। हेल्थ एक्सपर्ट्स का कहना है कि तला-भुना खाना कैंसर जैसी घातक बीमारियों का कारण बन सकता है। खासकर गर्मी के मौसम में तला-भुना खाना ज्यादा दुष्प्रभाव दिखाता है। आइए जानते हैं कि ज्यादा तला-भुना खाना खाने से कौन-कौन सी बीमारियां हो सकती हैं:

1. मोटापा और वजन बढ़ना
तला-भुने खाने में तेल की अधिक मात्रा होती है, जो अतिरिक्त कैलोरी के रूप में शरीर में जमा हो जाती है। यह कैलोरी शरीर में फैट के रूप में जमा होती है, जिससे मोटापा बढ़ता है। मोटापा डायबिटीज, हाई ब्लड प्रेशर और दिल की बीमारियों को भी न्योता देता है।

2. कोलेस्ट्रॉल और हार्ट हेल्थ पर असर
फ्राइड फूड्स में ट्रांस फैट्स और सैचुरेटेड फैट्स होते हैं, जो खराब कोलेस्ट्रॉल (LDL) का स्तर बढ़ाते हैं और अच्छे कोलेस्ट्रॉल (HDL) को घटाते हैं। इससे ब्लड वेसल्स में रुकावट आती है, जो हार्ट अटैक और स्ट्रोक जैसी गंभीर स्थितियों का कारण बन सकती है।

3. लिवर और किडनी पर प्रभाव
तले-भुने भोजन के सेवन से शरीर में टॉक्सिन्स बढ़ने लगते हैं। ये टॉक्सिन्स लिवर और किडनी की कार्यप्रणाली को धीमा कर सकते हैं। यदि लंबे समय तक ऐसा खाना खाया जाता है, तो लिवर और किडनी से जुड़ी बीमारियों का खतरा बढ़ सकता है।

4. कैंसर का खतरा
जब हम तेल को बार-बार गर्म करके फ्राई करते हैं, तो उसमें एक्रिलामाइड जैसे हानिकारक रसायन बनते हैं। यह रसायन कैंसर के जोखिम को बढ़ाता है, खासतौर पर पेट और आंतों के कैंसर का खतरा अधिक रहता है।

5. डायबिटीज का रिस्क
तला हुआ खाना खाने से इंसुलिन रेसिस्टेंस बढ़ता है, जिससे शरीर शुगर को सही तरीके से नियंत्रित नहीं कर पाता। इसके कारण टाइप-2 डायबिटीज का खतरा भी बढ़ता है।

🌿 तला-भुना खाने से बचाव के उपाय
तला-भुने खाने की मात्रा कम करें। हफ्ते में 1–2 बार ही खाएं।

ताजे और घरेलू तेल का उपयोग करें, और तेल को बार-बार गर्म न करें।

भाप में पकी, उबली या ग्रील्ड चीजें ज्यादा खाएं।

फल, सब्जियां और फाइबर युक्त आहार लें।

पानी, नींबू पानी और ग्रीन टी ज्यादा पिएं।

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