Amazon की नई पहल: ह्यूमनॉइड रोबोट्स से होगी डिलीवरी

Amazon एक और क्रांतिकारी कदम उठाने जा रहा है। कंपनी जल्द ही ह्यूमनॉइड रोबोट्स यानी इंसान जैसे दिखने और काम करने वाले रोबोट्स की टेस्टिंग शुरू करेगी। ये रोबोट भविष्य में पैकेज डिलीवरी में मदद कर सकते हैं।

📍 San Francisco में खास “ह्यूमनॉइड पार्क”
इन रोबोट्स की टेस्टिंग San Francisco स्थित एक ऑफिस में बनाए गए खास इनडोर ह्यूमनॉइड पार्क में की जाएगी। यह पार्क इस तरह डिज़ाइन किया गया है कि उसमें असली डिलीवरी जैसी स्थितियों का माहौल बनाया जा सके, जिससे रोबोट्स की नेविगेशन, मूवमेंट और फैसले लेने की क्षमता का परीक्षण हो सके।

⚙️ AI से बन रही है सुपर-फास्ट डिलीवरी चेन
Amazon पहले से ही अपने वेयरहाउस में AI और ऑटोमेशन तकनीकों का बड़े पैमाने पर इस्तेमाल कर रहा है। 2005 में Prime सेवा की शुरुआत के बाद दो-दिवसीय डिलीवरी आम हुई, फिर 2019 में वन-डे डिलीवरी और अब कंपनी की नजर सेम-डे डिलीवरी को नॉर्मल बनाने पर है।

2024 में, Amazon के वाइस प्रेसिडेंट Steve Armato ने बताया था कि अमेरिका के 60 शहरों में 60% ऑर्डर उसी दिन या अगले दिन डिलीवर हो रहे हैं — और इसका श्रेय जाता है AI और स्मार्ट वेयरहाउसिंग को।

🤖 ह्यूमनॉइड रोबोट्स: इंसानों जैसे लेकिन मशीन से तेज़
Amazon इन रोबोट्स को अभी बाहरी कंपनियों से मंगवा रहा है, लेकिन इनके लिए खुद का AI-संचालित सॉफ्टवेयर विकसित कर रहा है। ये रोबोट्स डिलीवरी की प्रक्रिया को और ज्यादा कुशल और फुर्तीला बना सकते हैं।

🧠 AI का जादू: डिमांड से लेकर डिलीवरी तक
Amazon 2020 से Transformer-based AI Models का उपयोग कर रहा है। ये मॉडल न सिर्फ मांग का अनुमान लगाते हैं, बल्कि सप्लाई चेन को भी ऑप्टिमाइज़ करते हैं। वेयरहाउस में ये मॉडल रोबोट्स को टकराने से बचाने और सही दिशा में ले जाने में मदद करते हैं।

⚠️ चिंताएं भी कम नहीं
जहां तकनीक भविष्य की राह बना रही है, वहीं इससे जुड़े खतरे भी सामने आ रहे हैं:

नौकरी का डर: CNBC की रिपोर्ट के अनुसार, 2021 से 2023 के बीच Amazon के वेयरहाउस में रोबोट्स की संख्या दोगुनी हो चुकी है। इससे यह आशंका गहराई है कि क्या ये रोबोट इंसानों की नौकरियां छीन लेंगे?

पर्यावरण पर असर: AI और रोबोट्स को चलाने के लिए भारी मात्रा में बिजली की जरूरत होती है, जो पर्यावरण पर प्रभाव डाल सकती है।

🔮 भविष्य की तस्वीर
Amazon का मानना है कि भविष्य AI और ऑटोमेशन में ही है। ह्यूमनॉइड रोबोट्स की टेस्टिंग एक बड़ा और अहम कदम है। अब देखना यह होगा कि ये तकनीक डिलीवरी सिस्टम को कितनी तेजी से बदलती है, और साथ ही इंसानी कामगारों पर इसका क्या असर पड़ता है।

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