रूस और यूक्रेन के बीच जारी युद्ध में उत्तर कोरिया भी कूद पड़ा, लेकिन किम जोंग उन की यह चाल उन पर ही भारी पड़ गई। उत्तर कोरिया ने रूस की मदद के लिए 25,000 सैनिक और 10 से ज्यादा खतरनाक टैंक भेजे थे, लेकिन अब तक की रिपोर्ट्स के मुताबिक इनमें से 4,000 सैनिक मारे जा चुके हैं और 4 टैंक तबाह हो चुके हैं।
रूस-उत्तर कोरिया गठबंधन, लेकिन बयान से दूरी!
रूस और उत्तर कोरिया ने अभी तक इस मुद्दे पर कोई आधिकारिक बयान नहीं दिया है।
रूस-यूक्रेन युद्ध को तीन साल हो चुके हैं, और अब तक रूस के 9 लाख से ज्यादा सैनिक मारे जा चुके हैं।
यूक्रेन में कितने लोग मारे गए हैं, इसकी सटीक गिनती अभी तक नहीं हुई है।
रूस को उत्तर कोरिया का सैन्य सहयोग
2024 में जब रूस की सेना कमजोर पड़ने लगी, तो उत्तर कोरिया ने मदद के लिए हाथ बढ़ाया।
किम जोंग उन ने दो बार में कुल 25,000 सैनिक रूस भेजे।
साथ ही उत्तर कोरिया ने अपने ताकतवर M-टैंक भी भेजे।
उत्तर कोरिया का यह टैंक कोरिया युद्ध में बेहद प्रभावी साबित हुआ था, जब इससे दक्षिण कोरिया की सेना को भारी नुकसान हुआ था। लेकिन यूक्रेन की सेना के आधुनिक ड्रोन ने इस टैंक को तबाह कर दिया।
उत्तर कोरिया को हुआ बड़ा नुकसान
यूक्रेन रक्षा मंत्रालय के अनुसार, अब तक उत्तर कोरिया के 4,000 सैनिक मारे जा चुके हैं।
इनमें से ज्यादातर सैनिक 20 साल से कम उम्र के थे, यानी युवा पीढ़ी का बड़ा नुकसान हुआ।
कीव पोस्ट की रिपोर्ट के मुताबिक, यूक्रेन की सेना ने खेरसान इलाके में उत्तर कोरिया के टैंकों को निशाना बनाया।
क्या किम जोंग उन की रणनीति उलटी पड़ गई?
उत्तर कोरिया के लिए रूस का समर्थन अब बदले में बड़ा नुकसान बनता जा रहा है।
रूस को सैन्य मदद देना किम जोंग उन को कितना महंगा पड़ेगा?
क्या उत्तर कोरिया इस युद्ध से पीछे हटेगा या और गहराई में फंसेगा?
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