महाराष्ट्र के नागपुर में औरंगजेब की कब्र को लेकर हुई हिंसक झड़प में राजनीतिक आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो चुका है। पहले AIMIM और शिवसेना यूबीटी ने सरकार पर हमला बोला, तो अब शिवसेना नेता संजय राउत ने बीजेपी और मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस पर जमकर निशाना साधा है।
संजय राउत का बयान:
संजय राउत ने कहा कि नागपुर में हिंसा फैलाने का कोई वाजिब कारण नहीं है, क्योंकि यह वही जगह है जहाँ आरएसएस का मुख्यालय है और यह देवेंद्र फडणवीस का निर्वाचन क्षेत्र भी है। उन्होंने कहा,
“यहां हिंसा फैलाने की हिम्मत किसके पास हो सकती है? हिंदुओं को डराने, अपने ही लोगों से उन पर हमला करवाने और फिर उन्हें भड़काकर दंगों में शामिल करने का यह एक नया पैटर्न है।”
राउत ने आरोप लगाया कि देवेंद्र फडणवीस और बीजेपी के नेता नागपुर से हैं, और उनकी गैंग ही दंगों को भड़काने में लगी हुई है। उन्होंने कहा,
“औरंगजेब की कब्र को हटाने की क्या जरूरत है? सरकार, जो बजरंग दल वालों की है, क्यों लोगों को भड़का रही है? आपको जो चाहिए, वो खुद करें, आपकी सरकार है।”
उन्होंने यह भी जोड़ते हुए चेतावनी दी कि अगर मुख्यमंत्री दंगों को रोकने के लिए कड़े कदम उठाते, तो वे यह नहीं देखते कि दंगाई किस जाति, पार्टी या गुट की है।
राउत ने कहा कि गुड़ी पड़वा पर भी कुछ लोग दंगे भड़काने की कोशिश कर सकते हैं, जबकि महाराष्ट्र की वास्तविक पहचान छत्रपति शिवाजी महाराज के शौर्य में निहित है।
उन्होंने यह भी कहा कि मुख्यमंत्री के निर्वाचन क्षेत्र में बाहरी लोग आकर दंगों को भड़काने की कोशिश कर रहे हैं, जो गृह मंत्रालय की विफलता है।
शांति की अपील:
इस बीच, मुख्यमंत्री देवेंद्र फडणवीस ने शांति बनाए रखने की अपील करते हुए कहा कि पुलिस महल इलाके में पथराव और तनावपूर्ण स्थिति को संभाल रही है। उन्होंने बताया कि वे पुलिस के लगातार संपर्क में हैं और लोगों से प्रशासन के सहयोग की अपील की।
उसी दौरान, नरेन्द्र मोदी के सहयोगी गडकरी ने भी जनता से प्रशासन के साथ मिलकर काम करने का संदेश दिया।
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